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NCERT Solutions for Class 12 Hindi Chapter 16 - Dusra Devdas

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Class 12 Hindi NCERT Solutions for Antra Chapter 16 Dusra Devdas - Free PDF Download

Class 12 Hindi Antra is an important part of this subject. Chapter 16 is an excellent prose piece that depicts the experience of the author. To understand the context of this chapter, students will need the assistance of the complete study material comprising the NCERT solutions for all the exercises. The solutions prepared by the experts of Vedantu will be the best bet for such requirements. Download and refer to these solutions for preparing this chapter in a better way.


Class:

NCERT Solutions for Class 12

Subject:

Class 12 Hindi

Subject Part:

Hindi Part 3 - Antra

Chapter Name:

Chapter 16 - Dusra Devdas

Content-Type:

Text, Videos, Images and PDF Format

Academic Year:

2024-25

Medium:

English and Hindi

Available Materials:

  • Chapter Wise

  • Exercise Wise

Other Materials

  • Important Questions

  • Revision Notes



Vedantu platform is the all-in-one resource and most downloaded application in our nation for total solutions in board exams like the latest and revised syllabus, Class 12 Hindi NCERT solutions, test papers, reference books solution and the updated notes. For Class 12, aspirants need to have chapter-wise Class 12 Hindi NCERT solutions, sample papers, important questions bank, earlier years solved papers, etc., as their brilliant preparation material.

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Access NCERT Solutions for Hindi Chapter 16 - दूसरा देवदास

1. पाठ के आधार पर हर की पौड़ी होने वाली गंगा जी की आरती का भावपूर्ण वर्णन अपने शब्दों में कीजिए।

उत्तर: हम गंगा जी की आरती देखने के लिए हर की पौड़ी के घाट पर गए। उस घाट पर गंगा जी की आरती बहुत ही भव्य रूप से की जाती है हम उस भव्य आरती का इंतजार कर रहे थे। रात्रि के समय हर की पौड़ी के घाट को हर तरफ से दियो से सजा दिया जाता है और यह दृश्य बहुत अद्भुत होता है। रात्रि के समय इस घाट पर गंगा जी की आरती ही सुनाई देती है। इन दीयों की चमक से पूरा घाट जगमगा उठता है। इतना भव्य और सुंदर दृश्य देखकर मेरी आंखें उत्तेजित हो गई। इस घाट की भव्यता देखकर मेरे भीतर भी भक्ति की लहर दौड़ पड़ी। आरती के बाद बहुत समय तक हम मां गंगा के शीतल जल में रहे। मेरे मन से यह आवाज आ रही थी मानो मां गंगा मुझे आशीर्वाद दे रही हो।


2. गंगा पुत्र के लिए गंगा मैया की जीविका और जीवन है-इस कथन के आधार पर गंगापुत्र के जीवन- परिवेश की चर्चा कीजिए।

उत्तर: इस पाठ में गंगा पुत्र उन्हें कहा गया है जिनका जीवन गंगा के भरोसे है। गंगा में लोगों द्वारा डाले गए धन को एकत्रित करके ही ये अपनी आजीविका चलाते हैं। गंगापुत्र अपनी जान को जोखिम डाल कर गंगा में गोते लगा लगा कर इन पैसों को एकत्रित करते हैं। इनके पास अपनी आजीविका का और कोई साधन नहीं है। गंगा पुत्र दो समय की रोटी के लिए अपनी जान को जोखिम में डालते हैं। इनका जीवन परिवेश अच्छा नहीं होता। परंतु और कोई आजीविका का साधन न होने के कारण इन्हें यह का मजबूरन करना पड़ता है।


3. पुजारी ने लड़की के “हम” को युगल अर्थ में लेकर क्या आशीर्वाद दिया और पुजारी द्वारा आशीर्वाद देने के बाद लड़के और लड़की के व्यवहार में अटपटापन क्यों आया?

उत्तर: लड़की और लड़का एक साथ मंदिर में गए थे, तो पूजारी ने लड़की के “हम” कहने पर यह सोचा कि ये दोनों पति- पत्नी है। पुजारी ने इस भ्रम में आ कर लड़की को आशीर्वाद कि वे हमेशा साथ रहे। पुजारी जी का यह आशीर्वाद सुनकर दोनों को अटपटा पन महसूस हुआ। लड़की के हम शब्द प्रयोग करने के कारण पुजारी जी को भ्रम हो गया। दोनों को ही लज्जा महसूस हुई और एक दूसरे से आंख भी नहीं मिला पा रहे थे। दोनों ही एक दूसरे से अटपटा व्यवहार कर रहे थे उन्हें समझ नहीं आ रहा था कि किस प्रकार पुजारी जी को बताया जाए की लड़की ने हम का प्रयोग क्यों किया था।


4. इस छोटी सी मुलाकात ने संभव के मन में क्या हाल-चाल उत्पन्न कर दी? इसका सूक्ष्म विवेचन कीजिए।

उत्तर: मंसा देवी के मंदिर जाने के लिए जब संभव केबिल कार में बैठा था तो उसके मन में अनेक कल्पना उठ रही थी। उसकी कल्पना उस लड़की से मिलने की थी और उसे पाने की। इस उम्मीद के साथ मंदिर जा रहा था कि वह लड़की उसे दोबारा मिलेगी। पहली मुलाकात से ही संभव उस लड़की को चाहने लगा था और भीतर ही भीतर प्रेम जाल में बंधता जा रहा था। उस लड़की की पहली झलक संभव के मन में बस गई थी। पारो की सुंदर छवि को वह भुला नहीं पा रहा था। गुलाबी साड़ी में पारो बहुत सुंदर लग रही थी, संभव को यही दृश्य बार-बार याद आ रहा था।


5. मंसा देवी जाने के लिए केबिल कार में बैठी संभव के मन में जो कल्पनाएं उठ रही थी, उनका वर्णन कीजिए।

उत्तर: संभव को अपने जीवन में पहली बार किसी लड़की से प्रेम का आभास हुआ था। उसकी कल्पनाओं में संभव पूर्ण रूप से खोया हुआ था। वे मंसादेवी के मंदिर इसलिए जाना चाहता था क्योंकि उसे आस थी की शायद वह लड़की उससे दोबारा भेंट कर सके। संभव की कल्पना उस लड़की से मिलने और उसे पाने की थी। संभव अपनी नानी के घर गया था वहीं से वह उस घाट पर उस लड़की से मिला था। पहली मुलाकात के बाद उसके मन में बस चुकी थी इसलिए वह मंसा देवी जाने के लिए केबिल कार में बैठा। वह गुलाबी रंग की केबिल कार में बैठा।


6.”पारो बुआ, पारो बुआ इनका नाम है….. उसे भी मनोकामना का पीला-लाल धागा और उसमें पड़ी गिठा का स्मरण हो आया”। कथन के आधार पर कहानी के संकेत पूर्ण आशय पर टिप्पणी कीजिए।

उत्तर: लड़की के भाई के बेटे ने इसे पारो हुआ कहकर संबोधित किया तो संभव देवदास की पारो के ख्यालों में खो गया। वह सोचने लगा कि देवदास में देवदास की प्रेमिका पारो थी, और मेरी प्रेमिका का नाम भी पारो है। संभव ने अपनी पारो को प्राप्त करने के लिए मंसा देवी के मंदिर में जाकर मन्नत का धागा बांदा और दुआ की कि उसे पारो मिल जाए और अपने साथ उस लड़के की मधुर स्मृतियां लेकर मंदिर से वापस आ गया। संभव मन ही मन पारो से प्रेम करने लगा था। संभव उस गुलाबी साड़ी वाली लड़की का नाम जानना चाहता था तभी उस लड़की के भतीजे नहीं संभव को “ पारो बुआ, पारो बुआ।“तभी उसे उस लड़की का नाम पता चला।


7. ’मनोकामना की गांठ भी अद्भुत अनूठी है, इधर बांधी उधर लग जाती है।‘इस कथन के आधार पर पारो की मनोदशा का वर्णन कीजिए।

उत्तर: पारो भी पहली ही मुलाकात में संभव को पसंद करने लगी थी। जैसे ही पारो मनोकामना की घाट बांधती है तुरंत ही उसे संभव नजर आ जाता है। पारो की दशा का वर्णन इस पंक्ति से किया जाता है। पारो अपने मन ही मन में बोलती है कि-“मनोकामना की गांठ भी अद्भुत अनूठी है, इधर बांधी उधर लग जाती है।“इस पंक्ति से पता चलता है कि पारो संभव की स्मृति को अपने भीतर बसा चुकी थी। दोनों के भीतर मिलने की उत्सुकता समान थी। जिस प्रकार संभव ने पारो को पाने के लिए मनसा देवी मे मन्नत मांगी थी इसी प्रकार पारो भी संभव पाने के लिए मनसा देवी के मंदिर आई थी और वहां उसने मन्नत की चुनरी बांधी। मन्नत मांगते हैं संभव उसके समक्ष आ गया और वह अत्यंत ही खुश हो गई।


8. निम्नलिखित वाक्यों का आशय स्पष्ट कीजिए:

(क)”तुझे तो तैरना भी ना आवे। कहीं पैर फिसल जाता तो मैं तेरी मां को कौन सा मुंह दिखाती।“

उत्तर: संभव हर की पौड़ी के घाट से नहाकर नानी के घर देर से आया था तब उसकी नानी ने संभव से कहा की मुझे तुम्हारी फिक्र हो रही थी कि कहीं गंगा मे स्नान के समय तेरा पैर फिसल कर गंगा जी में तो नहीं गिर गया। नानी संभव से कहती है कि तुझे तैरना भी नहीं आता। अगर तुझे कुछ हो जाता तो मैं तुम्हारी मां को क्या बताती।

(ख) ”उसके चेहरे पर इतना विभोर विनीत भाव था मानो उसने अपना सारा अह्म त्याग दिया है, उसके अंदर स्व से जनति कोई-कंठु शेष नहीं है, वह शुद्ध रूप से चेतन स्वरूप, आत्माराम और निर्मलानंद है।“

उत्तर: संभव ने गंगा नदी के बीचो-बीच एक व्यक्ति को देखा जो सूरज को जल चढ़ा रहा था। उस व्यक्ति को देखकर संभव को ऐसा लगा जैसे उस व्यक्ति के अंदर अहंकार बिल्कुल नहीं है। व्यक्ति बहुत ही शांत नजर आ रहा था। उसे देख कर ऐसा लग रहा था मानो उसने अपना सब कुछ भगवान को समर्पित कर दिया है और अब उसके पास कुछ नहीं है लेकिन फिर भी वह ईश्वर की भक्ति में लीन है। उस पवित्र व्यक्ति को देखकर संभव को लगा जैसे वह व्यक्ति स्वाभिमान संपन्न है उसे किसी चीज की कमी नहीं है। अहंकार त्याग करने के कारण उस व्यक्ति के जीवन में कोई दुख प्रतीत नहीं हो रहा था।

(ग) ”एकदम अंदर के प्रकोष्ठ में चामुंडा रूप धरिणी मंसा देवी स्थापित थी। व्यापार यहां भी था।“

उत्तर: संभव अपनी नानी के घर गया था|वहाँ से वह मनसा देवी के मंदिर जा पहुँचा उसने वहाँ की भव्यता को देखा और चकित रह गया। ऊपर दी गई पंक्तियों के माध्यम से संभव मंसादेवी के बारे में बता रहा है। मंसा देवी के मंदिर में संभव ने चामुंडा रूप में स्थापित मंसा देवी के दर्शन किए तथा मंदिर के आसपास लगी दुकानों को देखकर वह सोचने लगा कि मंदिर के साथ-साथ यहां व्यापार का भी अच्छा साधन है। मंदिर के बाहर लगी दुकानों को देखकर ऐसा लगता है की मंदिर होने के साथ-साथ या लोगों की आजीविका का साधन भी है।


9. ’दूसरा देवदास ‘ कहानी के शीर्षक की सार्थकता स्पष्ट किजिए।

उत्तर: इस कहानी के पात्र संभव अपने प्रेमिका पारो से मिलने के लिए बहुत व्याकुल रहता हैं जिस तरह शरतचन्द्र के नाटक में ‘ देवदास ‘ में अपनी पारो से मिलने कि लिए व्याकुल रहता है ।अत: इस कहानी को शीर्षक ‘ दूसरा देवदास ‘ सार्थक है।पारो के एक मात्र दर्शन से संभव उसके प्रेम में डूब जाता हैं।संभव ने उस गुलाबी साड़ी वाली लड़की के बारे में जानने के लिए उसे मंसा देवी मंदिर में खोजा। संभव के भीतर पारो की छवि छप चुकी थी ।उसे पाने के लिए उसने मंसा देवी के मंदिर में  मन्नत का धागा बांधा। पारो भी मन ही मन संभव को पसंद करने लगी थी उसने भी मन्नत की चुनरी संभव से मिलने के लिए बांधी और तभी संभव उससे मिल जाता हैं।जैसे ही संभव पारो से मिलता है उसे लगता है मानो उसका जीवन सार्थक हो गया।


10. 'हे ईश्वर! उसने कब सोचा था कि मनोकामना का मौन उद्गार इतनी शीध्र सुभ परिणाम ।‘ – आशय स्पष्ट किजिए।

उत्तर: संभव को पारो से पहली नजर में ही प्रेम हो गया था उसने उस लड़की को पाने के लिए मंसा देवी के मंदिर में मन्नत की गाँठ बांधी। संभव मन ही मन चाहत था कि ईश्वर उसे पारो से मिलवा दे इसी उम्मीद में वह मंसा देवी के मंदिर गाँठ बांधने गया था। संभव की तरह ही पारो भी मंदिर में संभव से मिलने के लिए ईश्वर से प्रार्थना करने आई थी उसने वहां मन्नत मांगते हुए चुनरी बांधी। कुछ समय बाद ही संभव को मंदिर के बाहर पारो मिल गई तो वह सोचने लगा की – “हे ईश्वर! मनोकामना का इतना शीघ्र शुभ परिणाम। ‘ वह पारो को देखकर अत्यंत उत्साहित हो उठा। पारो भी संभव हो देखकर खुशी से शर्माने लगी। उन दोनों की मनोकामना इतने शीघ्र शुभ परिणाम लाई इसका उन्हें कोई अंदाजा नहीं था।


प्रश्न संख्या: 1

1. इस पाठ का शिल्प आख्यता की ओर से लिखते हुए बना है। पाठ से कुछ उदाहरण देकर सिद्ध कीजिए।

उत्तर: हमने पाठ से कुछ उदाहरण लिए है जो निम्नलिखित है:

(क) यकायक सहस्र दीप जल उठते है पंडित अपने आसान से उठ खड़े होते है ।

(ख) संभव हंसा। उसके एक सार खूबसूरत दांत सांवले चेहरे पर फब उठे।

(ग) गंगा सभी के स्वयंसेवक खाकी वर्दी में मुस्तैदी से घूम रहे हैं।

(घ) दूसरा यह दृश्य देखकर मालूम होता है कि वे संबोधन गंगा जी के गर्भ तक पहुंच रहे हैं।


प्रश्न संख्या: 2

2. पाठ में आए पूजा अर्चना के शब्दों और इनसे संबंधित वाक्यों को छांट कर लिखिए।

उत्तर: 

(क) आरती- आरती शुरू होने वाली थी।

(ख) चंदन और सिंदूर- हर के पास चंदन और सिंदूर की कटोरी थी।

(ग) स्नान- आरती से पहले स्नान! 

(घ) मूर्तियों-  गंगा जी की मूर्ति के साथ साथ, चामुंडा, बालकृष्ण, हनुमान और सीताराम की मूर्तियों की श्रंगार पूर्ण स्थापना है।

(ड़) नीलांजलि- पीतल की नीलांजलि में बत्तियां घी भिगोकर रखी हुई है।

NCERT Solutions Class 12 Hindi Antra 2 Chapter 16 Dusra Devdas

The 'Second Devdas' story compiled in this prose by keeping Har ki Podi, Haridwar's surroundings at the centre. The youthful sensations, sentiment and the upheaval of the thinking attractive language-style. Presentation in this story is the first casual visit in young heart, stir, imagination and is an example of romanticism.


In the second part of Devdas story, the writer wrote about such incidents Combined that the first germination of love is inadvertently possible and the hearts of the birds are large.


Strange circumstances arise. It is the first attraction and cave of circumstances, gives the foundation and strength to their love, which proves that for love, it is not necessary to have a particular person, time and situation. Anytime, anywhere, can arise at any time and position, may occur. Story writer Smt Mamta Kalia with the help of this prose removes prem or love from the conventions of Bombay films and gives it a pure and permanent form. The story is unmatched in terms of story, language and craft.


Chapter 16 Dusra Devdas, written by Smt Mamta Kalia, the whole story is written in an understandable language. The complete resources for the preparation are available for download, free of cost for  CBSE 2024-25 Board Hindi examinations.


There are ten questions which the author Smt Mamta Kalia has asked from Dusra Devdas, based on the concept of the story. The solutions for these questions are available on Vedantu website. Our subject expert teachers prepare these answers; they share the latest information in an understandable language.


Importance of Class 12 Hindi Antra Chapter 16 Dusra Devdas NCERT Solutions PDF

Class 12 Hindi Antra Chapter 16 Dusra Devdas is a remarkable masterpiece written by Smt. Mamta Kalia. In this prose piece, students will get a beautiful glimpse of the experience the author has shared with us. To understand the context of this chapter, students will need the simpler version of notes and the exercise solutions.


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NCERT - Solutions for Class 12 Hindi (Core and Elective) Syllabus:

Class 12 Hindi latest syllabus is bifurcated into two Hindi Core and Hindi Elective courses. For Hindi Core students, the syllabus is divided into two sections. Section A consists of two books Aroh 2 and Vitan 2, and section B has questions from Aroh 2 book. Aroh 2 (comprises 18 chapters) and Vitan 2 (comprises four chapters) and solutions for all the other chapters are available on Vedantu in the PDF format.


Hindi Elective syllabus as per CBSE pattern 2024-25 is divided into two sections. Two books Antra 2 and Antral 2 are prescribed and come in section A, while Antra part 2 book is kept for section B.


Chapter-wise NCERT Solutions Class 12 Hindi Antra 2 and Antral part 2 in PDF format are available on Vedantu. Four chapters included in book Antral part 2 as prescribed by CBSE board for Class 12 CBSE students. All NCERT solutions are available on Vedantu site/ app.


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NCERT Textbook Solutions for Class 12 Hindi Antra provides chapter-wise answers and explanations for all prose and poetry sections. These solutions help students deepen their understanding of key literary themes and improve their performance in exams.




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This resource provides detailed, chapter-wise solutions for the NCERT Class 12 Hindi Antral textbook. It helps students understand key themes and concepts, improving their comprehension and exam preparation.




Detailed NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh

These solutions provide in-depth answers and explanations for all chapters in the Class 12 Hindi Aroh textbook. Designed to enhance comprehension and facilitate effective exam preparation, they guide students through key literary concepts and themes.




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These solutions offer thorough answers and insights for all chapters in the Class 12 Hindi Vitan textbook. Aimed at improving understanding and aiding exam preparation, they help students navigate important literary themes and concepts effectively.




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Why Vedantu?

Vedantu offers NCERT Solutions and all other study materials required for comprehensive preparation of CBSE Class 12 Term II and Term I 2024-25. Students will be able to clear all doubts referring to these study resources. The experienced teachers and subject matter experts have prepared the NCERT Solutions and other study materials after extensive research on the chapters. Students can register for the online classes on Vedantu for better exam preparation. The NCERT Solutions for Class 12 Hindi are prepared as per the revised CBSE guidelines. Therefore students will be able to get an in-depth understanding of the chapters covered in their Class 12 Hindi syllabus by referring to these NCERT Solutions and score good marks in the exam.

FAQs on NCERT Solutions for Class 12 Hindi Chapter 16 - Dusra Devdas

1. Is NCERT Solutions for Class 12 Hindi Antra 2 Chapter 16 Dusra Devdas, written by Smt Mamta Kalia available on Vedantu, is sufficient to prepare for the Board Exams?

Yes, all the information available on Vedantu regarding NCERT Solutions for Class 12 Hindi Antra 2 Chapter 16 Dusra Devdas, written by Smt Mamta Kalia, is sufficient to prepare for the board exams and for scoring higher grades.

2. Are all the chapters from Hindi Elective Antra book available in PDF format at Vedantu platform?

At Vedantu platform, all the chapters from Hindi elective Antra book are available in the PDF format, accessible for all the students to download free of cost.

3. Is the Vedantu site safe and reliable?

Vedantu is the safest and most trustworthy platform in the country for all Class 12 CBSE board students. With the support of Vedantu in learning and clearing the concepts, students can score higher grades. Vedantu is a reliable platform for free downloading the complete study solution for the preparation of Board exams.

4. Which website provides Class 12 NCERT Books with their summaries for all subjects free of cost?

Vedantu provides Class 12 NCERT books online along with the summaries and NCERT Solutions for every chapter for all subjects covered in the CBSE 2024-25 Class 12 Term II and Term I syllabi. Students can download all the Class 12 NCERT books and study materials for free from Vedantu for offline reference. They can also refer to these NCERT books and solutions on the Vedantu app

5. Who is the writer of Class 12 Hindi Antra Chapter 16 “Dusra Devdas”?

Smt Mamta Kalia wrote Class 12 Hindi Antra Chapter 16 “Dusra Devdas”. The story is told in prose, with Harki Pauri, Haridwar's surroundings, at the heart. The upheaval of the questioning attractive linguistic style, as well as the youthful sensations, sentiments, and upheaval. This story's presentation is the major causal go-to in youthful heart stir, creativity, and is an example of romanticism. The Vedantu platform is our country's all-in-one resource and perhaps the most preferable for complete board exam solutions.

6. How many questions are there in the Class 12 Hindi Antra Chapter 16 Dusra Devdas?

There are 10 questions given at the end of Chapter 16 Dusra Devdas of Class 12 Hindi Antra. Students can solve and practise all these questions on their own and they can also refer to the NCERT Solutions for Class 12 Hindi Antra Chapter 16 Dusra Devdas on Vedantu for preparing the chapter for CBSE Class 12 Hindi exam effectively.

7. On the basis of the text, describe in your own words the aarti of Gangaji to be held at Har Ki Pauri.

The poet described that there are various ghats. They went to the Ghat called Harki Pauri. Her father donated Pind Daan in the name of Grandfather. They waited for the evening aarti. In the evening, different types of lamps were lit on the ghat. Aarti started. The aarti of Mother Ganga reverberated throughout the ghat. Mother Ganga shone with big lamps. It seemed as if the light of these lamps was being received in the form of gold in Mother Ganga. Her eyes were filled with emotion seeing such a sight.

8. Explain the second part of Devdas’s tale.

The author talked about such occurrences mixed in the second half of Devdas’s story that the initial germination of attachment is unintentionally possible and the hearts of the birds are huge. Strange things happen. It is the major charm and cave of events, providing the muse and energy to their love, demonstrating that having a certain person, time, and circumstance isn't always necessary for love. Anytime, wherever, can get up at any time and in any posture, may also happen.

9. What stir did that small meeting create in Sambhav's mind? Give a detailed account of it.

Maybe it was a young man. Before this, no girl had knocked on his heart. Suddenly, upon meeting Paro, he became aware of the feeling of love for a girl. When he saw Paro completely drenched in a pink sari, he kept looking. Her beauty was unmatched. He stirred her tender mind. He used to search every street of Haridwar to find her. When he reaches home, he doesn't feel like anything. He could see only the shape of Paro in his thoughts and dreams. He started making plans to meet her.