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Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha Class 12 Notes: CBSE Hindi (Antra) Chapter 14

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Hindi Notes for Chapter 14 Class 12 - FREE PDF Download

Vedantu's comprehensive Revision notes and summary for Hindi Antra Chapter 13 are prepared to provide a clear and in-depth understanding of this complex chapter. Our Master teachers have carefully analysed the lesson, explaining the themes, symbolism, and devices used by the author. This chapter explores what makes a lion, using it as a metaphor to discuss themes of identity, how we see things, and human nature.

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Table of Content
1. Hindi Notes for Chapter 14 Class 12 - FREE PDF Download
2. Access Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha Notes
    2.1लेखक के बारे में:
    2.2कहानी का सारांश:
    2.3मुख्य विषय 
    2.4पात्र-चित्रण
    2.5कहानी का सार
3. Learnings from Class 12 Hindi Antra Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha
4. Importance of Class 12 Hindi Antra Chapter 14 Notes - PDF
5. Tips for Learning the Hindi (Antra) Class 12 Chapter 14 Notes 
6. Important Study Materials for Class 12 Hindi Antra Chapter 14  Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha
7. Chapter-wise Revision Notes for Hindi Class 12 - Antra
8. Important Study Materials for Class 12 Hindi
FAQs


Our Class 12 Hindi Revision Notes ensure that you learn the meaning of this lesson effortlessly. Understanding the chapter requires focusing on the author's life, literary devices, and underlying messages. Access the FREE PDF Download for these chapters, prepared according to the updated CBSE Class 12 Hindi Syllabus for effective preparation.

Access Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha Notes

लेखक के बारे में:

असगर वजाहत

असगर वजाहत एक प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार और लेखक हैं, जिनकी लेखनी में समाजिक और राजनीतिक मुद्दों की गहरी छाप होती है। वे अपने विचारशील और समर्पित लेखन के लिए जाने जाते हैं, जो मानवता और सामाजिक बदलाव पर प्रकाश डालते हैं। असगर वजाहत की लेखनी में अक्सर व्यंग्य और प्रतीकात्मकता का इस्तेमाल किया गया है, जिससे उनके काम में गहराई और प्रभावशीलता झलकती है। उनके लेखन का उद्देश्य न केवल मनोरंजन है, बल्कि समाज के विभिन्न पहलुओं पर गंभीर विचार और आलोचना भी करना है। "शेर पहचान चार हाथ" उनके सामाजिक दृष्टिकोण और साहित्यिक कौशल का एक उत्कृष्ट उदाहरण है।


कहानी का सारांश:

यह अध्याय व्यंग्यात्मक शैली में समाज की विडंबनाओं को उजागर करता है। 'शेर' कहानी में शेर सत्ता या व्यवस्था का प्रतीक है। जंगल के जानवर लालच में फंसकर शेर के खुले मुंह में चले जाते हैं, जो भ्रष्ट व्यवस्था में फंसे आम लोगों का प्रतीक है। 'पहचान' कहानी अंधी, गूंगी और बहरी प्रजा के राजा द्वारा पसंद किए जाने पर व्यंग करती है, जो सत्ता द्वारा जनता के दमन का चित्रण करती है। 'चार हाथ' कहानी पूंजीवादी व्यवस्था में श्रमिकों के शोषण को रेखांकित करती है। वहीं 'साझा' कहानी पूंजीपतियों द्वारा किसानों के हितों को नजरअंदाज किए जाने पर व्यंग करती है। कुल मिलाकर, ये कहानियां समाज की कुरीतियों और सत्ता के दुरुपयोग पर प्रहार करती हैं।


मुख्य विषय 

इस अध्याय का मूल विषय सत्ता के दुरुपयोग और सामाजिक असमानता पर व्यंगपूर्ण कटाक्ष है। 'शेर, पहचान, चार हाथ, साझा' कहानियाँ व्यवस्था में निहित खामियों को उजागर करती हैं, जहाँ सत्ता का इस्तेमाल व्यक्तिगत लाभ के लिए किया जाता है और आम जनता का शोषण होता है। ये कहानियाँ पाठकों को जगाने का प्रयास करती हैं ताकि वे अपने आसपास घट रही घटनाओं को पहचान सकें और सत्ता के दुरुपयोग का विरोध कर सकें।


पात्र-चित्रण

यहाँ प्रमुख प्रतीकों के संदर्भ में चरित्र चित्रण को समझा जा सकता है:


  • शेर (पहली कहानी): शेर सत्ता या तानाशाही व्यवस्था का प्रतीक है। वह लालच देकर जंगल के जानवरों को फँसाता है, जो भ्रष्ट व्यवस्था में फंसे आम लोगों का प्रतिनिधित्व करता है।

  • राजा (दूसरी कहानी): राजा सत्ताधारी वर्ग का प्रतीक है, जो अंधी, गूंगी और बहरी प्रजा को पसंद करता है। यह व्यंग उस शासन पर कटाक्ष करता है जो जनता की वास्तविकता से अनजान होता है और उनकी आवाज़ को दबाता है।

  • मजदूर (तीसरी कहानी): मजदूर मेहनतकश वर्ग का प्रतीक है, जिसका पूंजीवादी व्यवस्था में शोषण किया जाता है। चार हाथ होना उनकी मेहनत का द्योतक है, लेकिन उन्हें उचित लाभ नहीं मिलता।

  • किसान (चौथी कहानी): किसान कृषक वर्ग का प्रतीक है, जिसके हितों को पूंजीपति अपने फायदे के लिए नजरअंदाज करते हैं।


कहानी का सार

1. शेर

  • शेर का पहली मुलाकात: लेखक ने शहर के लोगों से डरकर जंगल में जाने का निर्णय लिया। पहले दिन ही, उन्होंने बरगद के पेड़ के नीचे एक शेर को देखा। लेखक ने इसे गौतम बुद्ध का रूप समझा, क्योंकि वह गौतम बुद्ध को इस तरह के पेड़ के नीचे देखने का आदी था। शेर का मुँह खुला हुआ था, और लेखक डर के मारे एक झाड़ी में छिप गया। उसने देखा कि शेर छोटे जानवरों को बिना हिले-डुले निगलता जा रहा था, जिससे वह बेहोश होते-होते बचा।

  • गधे, लोमड़ी और उल्लू का शेर के मुँह में प्रवेश: अगले दिन, लेखक ने गधे को शेर के मुँह की ओर बढ़ते देखा। गधा कहा कि वहाँ हरी घास का मैदान है। लेखक ने चेताया कि यह शेर का मुँह है, लेकिन गधा फिर भी अंदर चला गया। उसी तरह, लोमड़ी ने बताया कि शेर के मुँह में रोजगार का दफ्तर है और उल्लू ने इसे स्वर्ग मानकर वहाँ जाना चुना। इसी प्रकार, कुत्तों का जुलूस भी शेर के मुँह की ओर बढ़ गया और वहाँ चला गया।

  • शेर की नई छवि और लेखक का निर्णय: कुछ समय बाद, लेखक ने सुना कि शेर अहिंसा और सह-अस्तित्ववाद का समर्थक बन गया है और अब जंगली जानवरों का शिकार नहीं करता। लेखक ने शेर की सच्चाई जानने की कोशिश की और पता चला कि शेर के मुँह में वास्तविक रोजगार का दफ्तर है, जबकि बाहर का दफ्तर झूठा है। जब लेखक ने शेर के मुँह में जाने से इंकार किया, तो शेर ने अहिंसा की मुद्रा त्याग कर दहाड़ मारी और लेखक पर हमला कर दिया।

  • कहानी का सन्देश: यह लघुकथा यह दर्शाती है कि सत्ता (प्रतीक के रूप में शेर) तब तक शांत रहती है जब तक लोग उसकी आज्ञा का पालन करते हैं। जैसे ही कोई व्यवस्था पर सवाल उठाता है, सत्ता आक्रामक हो जाती है और विरोधी को कुचलने का प्रयास करती है।


2. पहचान

  • राजा का पहला हुक्म: राजा ने आदेश दिया कि सभी लोग अपनी आँखें बंद रखें ताकि शांति मिल सके। लोगों ने राजा की आज्ञा का पालन किया, और वे आँखें बंद करके अपने सारे काम करने लगे। आश्चर्य की बात यह थी कि काम पहले से अधिक और बेहतर होने लगा।

  • कानों में सीसा डालने का आदेश: इसके बाद, राजा ने आदेश दिया कि लोग अपने कानों में पिघला हुआ सीसा डाल लें ताकि वे कुछ सुन न सकें। राजा का तर्क था कि सुनना जिंदा रहने के लिए जरूरी नहीं है। लोगों ने इस आदेश का पालन किया, और उत्पादन और भी बढ़ गया।

  • होंठ सिलवाने का आदेश: राजा ने फिर आदेश दिया कि लोग अपने होंठ सिलवा लें क्योंकि बोलना उत्पादन में बाधक होता है। लोगों ने सस्ती दरों पर अपने होंठ सिलवा लिए, लेकिन अब वे खाना भी नहीं खा सकते थे। खाना भी काम करने के लिए जरूरी नहीं माना गया। उन्होंने कई तरह की कटवाने और जुड़वाने की प्रक्रियाएँ पूरी की।

  • खुली आँखों का अवलोकन: एक दिन, खैराती, रामू, और छिद्यू ने सोचा कि आँखें खोलकर देखा जाए क्योंकि देश अब स्वर्ग बन गया होगा। जब तीनों ने अपनी आँखें खोलीं, तो उन्होंने देखा कि उनके सामने केवल राजा ही था। वे एक-दूसरे को देख न सके।

  • कहानी का सन्देश: यह लघुकथा यह दर्शाती है कि राजा को गूँगी, बहरी, और अंधी प्रजा पसंद आती है। वह हरसंभव प्रयास करता है कि प्रजा की पहचान खो जाए और वे केवल राजा की ओर ही देखती रहें। राजा अपनी सफलता मानता है जब जनता एकजुट नहीं हो पाती और केवल उसकी ही ओर देखती रहती है।


3. चार हाथ

  • मिल मालिक की विचित्र सोच: एक मिल मालिक (पूंजीपति) के मन में अजीब विचार आया कि दुनिया भर में मिलें बन जाएँ और लोग भी मिल के हिस्से बन जाएँ। उसने सोचा कि यदि मजदूरों के दो हाथों की जगह चार हाथ हो जाएँ, तो काम तेजी से होगा और मुनाफा बढ़ेगा।

  • वैज्ञानिकों की असफलता: इस विचार को पूरा करने के लिए, मिल मालिक ने बड़े वैज्ञानिकों को मोटी तनख्वाह पर रखा। कई वर्षों के प्रयोगों के बाद वैज्ञानिकों ने इसे असंभव घोषित कर दिया। मिल मालिक ने इससे नाराज होकर वैज्ञानिकों को नौकरी से निकाल दिया।

  • मिल मालिक की खुद की कोशिशें: मिल मालिक ने खुद इस काम को पूरा करने की ठानी। उसने कटे हुए हाथ मंगवाए और उन्हें मजदूरों में लगवाने की कोशिश की, लेकिन यह संभव नहीं हो सका। इसके बाद, उसने लकड़ी के हाथ लगाए, पर उनसे भी काम नहीं हुआ। अंततः, उसने लोहे के हाथ लगाए, जिससे मजदूर मर गए।

  • अंतिम समाधान: मिल मालिक को आखिरकार एक बात समझ में आई। उसने मजदूरों की मजदूरी आधी कर दी और उसी पैसे में दुगने मजदूर रख लिए।

  • कहानी का सन्देश: यह लघुकथा पूंजीवादी व्यवस्था में मजदूरों के शोषण को उजागर करती है। पूंजीपति विभिन्न उपायों से श्रमिकों को असहाय बनाकर उनका शोषण करता है, और मजदूर विरोध की स्थिति में नहीं होते।


4. साझा

  • किसान का डर और पिछला अनुभव: किसान खेती के तकनीकी पहलुओं से परिचित था, लेकिन वह डर के मारे अकेले खेती करने का साहस नहीं जुटा पा रहा था। उसने पहले शेर, चीते, और मगरमच्छ के साथ साझे की खेती की थी।

  • हाथी का प्रस्ताव: अब हाथी (जो प्रभुत्वशाली वर्ग का प्रतीक है) किसान से साझे की खेती करने की जिद कर रहा था। हाथी ने साझे की खेती के लाभों को बताते हुए कहा कि इससे छोटे जानवर खेतों को नुकसान नहीं पहुँचाएंगे। किसान ने अंततः हाथी की बात मान ली और गन्ना बोने का निर्णय लिया।

  • हाथी का प्रचार और किसान की तैयारी: हाथी ने गन्ने की खेती के साझे को पूरे जंगल में प्रचारित कर दिया। किसान ने फसल की देखभाल की और जब गन्ना तैयार हो गया, तो उसने हाथी को खेत पर बुलाया और फसल को आधे-आधे बाँटने की बात की।

  • हाथी की प्रतिक्रिया और साझेदारी का परिणाम: हाथी ने इस प्रस्ताव पर नाराजगी जताई और कहा कि हम दोनों ने मिलकर मेहनत की है, इसलिए हम दोनों गन्ने के स्वामी हैं। उसने गन्ने का एक छोर अपनी सूंड में और दूसरा आदमी के मुँह में रख दिया। जब आदमी गन्ने की ओर खिंचने लगा, तो हाथी ने गन्ना छोड़ दिया और कहा, “देखो, हमने एक गन्ना खा लिया।”

  • कहानी का सन्देश: यह लघुकथा यह दर्शाती है कि कैसे गाँव का प्रमुख वर्ग (हाथी) किसानों की फसल को साझे का झाँसा देकर हड़प कर लेता है।


Learnings from Class 12 Hindi Antra Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha

  • Power and its Misuse: The stories highlight the corrupting influence of power and its detrimental impact on individuals and society. 

  • Social Inequality and Injustice: The chapter brings to light the stark disparities and injustices that exist within society. 

  • Human Greed and Blind Ambition: The stories serve as a cautionary tale against the perils of unchecked greed and blind ambition. 

  • The Importance of Critical Thinking and Social Awareness: The chapter encourages readers to develop critical thinking skills and cultivate a heightened sense of social awareness. 


Importance of Class 12 Hindi Antra Chapter 14 Notes - PDF

  • Study notes for Chapter 14 offer a summary, saving time by focusing on essential details.

  • They highlight key themes and ideas, making it easier to understand why the chapter is essential.

  • Including meaningful quotes and clear explanations helps students better understand and remember the material.

  • The notes explain the characters and story clearly, making it easier for students to understand the chapter fully.

  • These notes are useful for quick review before exams, ensuring students are well-prepared.

  • The Notes PDF covers the entire syllabus, ensuring students understand all aspects of the chapter.


Tips for Learning the Hindi (Antra) Class 12 Chapter 14 Notes 

  • Identify Central Themes: Focus on the recurring themes of power abuse, social inequality, human greed, and the importance of critical thinking. See how each story reinforces these themes.

  • Character Roles: While they lack traditional character development, understand the roles each character plays in conveying the story's message. Analyse how the Lion, blind subjects, labourers, and farmers represent societal issues.

  • Summarise Each Story: Briefly summarise the plot and key events of each story. This will help you grasp the main ideas and identify connections between them.

  • Discuss with Classmates: Engage in discussions with classmates about the chapter's themes and interpretations. Sharing perspectives strengthens understanding and allows you to learn from others' insights.

  • Connect to the Real World: Reflect on how the themes in the chapter relate to current events or social issues you've encountered. These personalities learn and make it more relevant.


Conclusion

The Class 12 Chapter 14 of Hindi Antra serves as a reflection of the complexities of our society. Through sharp satire and symbolic characters, it compels us to question authority, challenge injustice, and advocate for change. Vedantu's summary and notes provide clear concepts and insights into the characters, helping students understand the chapter better. By cultivating critical thinking and social awareness, we can strive towards a more equitable future. Download our FREE PDF notes for effective learning. 


Important Study Materials for Class 12 Hindi Antra Chapter 14  Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha

S. No

Important Study Materials for Class 12 Hindi Chapter 14

1.

Class 12  Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha Important Questions

2.

Class 12  Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha NCERT Solutions


Chapter-wise Revision Notes for Hindi Class 12 - Antra


Important Study Materials for Class 12 Hindi

FAQs on Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha Class 12 Notes: CBSE Hindi (Antra) Chapter 14

1. What is the central theme of the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha?

The central theme of the chapter is the critique of power structures and the exploitation inherent in capitalist systems. It illustrates how the ruling class uses power and manipulation to control and exploit the working class.

2. Who is the main character in the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha, and what role does he play?

The main character in the chapter is a mill owner (capitalist) who represents the ruling class. He attempts to exploit workers through various means to maximise his profit.

3. What is the significance of the lion in the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha?

The lion symbolises power and authority. The story uses the lion to depict how authority can be deceptive and exploitative, presenting a façade of benevolence while pursuing self-serving goals.

4. How does the mill owner try to implement his idea of increasing productivity according to the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha?

The mill owner attempts to increase productivity by experimenting with various means to add more hands to the workers, including using cut-off, wooden, and iron hands, all of which fail.

5. What is the ultimate solution the mill owner finds for increasing productivity in Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha?

The mill owner finally decided to cut the wages of the workers by half and hire double the number of workers with the reduced wages.

6. What does the story suggest about the capitalist approach to labour in the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha?

The story suggests that the capitalist approach often leads to the exploitation and dehumanisation of labour, prioritising profit over workers' well-being.

7. How does the chapter "Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha" reflect the theme of deception?

The chapter reflects deception through the way the lion, representing authority, deceives the other animals by pretending to be benevolent while secretly maintaining control and exploiting them.

8. What does the farmer’s experience with the elephant symbolise in the story?

The farmer’s experience with the elephant symbolises how powerful entities (like the ruling class) exploit and deceive the common people under the guise of partnership and mutual benefit.

7. What message does the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha convey about the exploitation of workers?

The chapter conveys that the exploitation of workers is often disguised under the pretence of partnership and collaboration, where the ruling class takes advantage of the workers' labour and then takes control.

8. What role do deception and manipulation play in the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha?

Deception and manipulation are central to the narrative, as they showcase how those in power use cunning and pretences to control and exploit others.

9. How does the Class 12 Hindi (Antra) Chapter 14 Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha use symbolism to convey its message?

The chapter uses symbolism, such as the lion and elephant, to represent the ruling class and their manipulative tactics, illustrating how power can be abused to exploit and oppress.

10. How does the chapter "Sher, Pehchan, Char Hath, Sajha" relate to real-world issues?

The chapter relates to real-world issues by highlighting the exploitation and manipulation often faced by workers in capitalist systems, reflecting the power dynamics and injustices present in societal structures.