NCERT Solutions for Class 11 Chemistry Chapter 7 Equilibrium In Hindi PDF Download
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Access NCERT Solutions for Science Chapter 7 - साम्यावस्था
1. एक द्रव को सीलबन्द पात्र में निश्चित ताप पर इसके वाष् साथ साम्य में रखा जाता है। पात्र का आयतन अचानक बढ़ा दिया जाता है।
(क) वाष्प-दाब परिवर्तन का प्रारम्भिक परिणाम क्या होगा?
उत्तर: शुरुआत में वाष्प का दाब घटेगा क्योंकि वाष्प का समान द्रव्यमान बड़े आयतन में वितरित होता है।
(ख) प्रारम्भ में वाष्पन एवं संघनन की दर कैसे बदलती है?
उत्तर: बन्द पात्र में नियत ताप पर वाष्पन की दर नियत रहती है ,संघनन की दर शुरुआत में निम्न होगी।
(ग) क्या होगा, जबकि साम्य पुनः अन्तिम रूप से स्थापित हो जाएगा, तब अन्तिम वाष्प दाब क्या होगा?
उत्तर: अन्तिम रूप से स्थापित साम्य में संघनन की दर वाष्पन की देर के समान होती है। अन्तिम वाष्प दाब पहले के समान रहता है।
2. निम्नलिखित साम्य के लिए K, क्या होगा, यदि साम्य पर प्रत्येक पदार्थ की सान्द्रताएँ हैं–
उत्तर:
3.एक निश्चित ताप एवं कुल दाब
साम्य के लिए
उत्तर: परमाणुओं का आंशिक दाब
4. निम्नलिखित में से प्रत्येक अभिक्रिया के लिए साम्य स्थिरांक
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
5.
उत्तर:
उत्तर:
6.साम्य
उत्तर: प्रतीप अभिक्रिया के लिए ,
7.साम्य स्थिरांक का व्यंजक लिखते समय समझाइए कि शुद्ध द्रवों एवं ठोसों को उपेक्षित क्यों किया जा सकता है? मोलों की संख्या
उत्तर:
(शुद्ध द्रव) या (शुद्ध ठोस) = मोलों की संख्या /
= (द्रव्यमान / आण्विक द्रव्यमान) / आयतन
= (द्रव्यमान / आयतन)
= घनत्व / आण्विक द्रव्यमान
शुद्ध ठोस या शुद्ध द्रव के आण्विक द्रव्यमान तथा घनत्व नियत ताप पर निश्चित होते हैं, अतः इनके मोलर सान्द्रण नियत होते हैं। यही कारण है कि इन्हें साम्य स्थिरांक के व्यंजक में उपेक्षित किया जा सकता है।
8.
यदि एक
उत्तर:
मोलों की प्रारंभिक संख्या
साम्य पर मोल
साम्य पर,
चूंकि
तथा
9. निम्नलिखित अभिक्रिया के अनुसार नाइट्रिक ऑक्साइड
जब स्थिर ताप पर एक बन्द पात्र में
उत्तर:
अतः साम्य पर,
10. साम्य
उत्तर: दी गई अभिक्रिया के लिए ,
11.
उत्तर:
प्रारंभिक दाब
साम्य पर
Hl के दाब में कमी
12.
उत्तर: दी गई अभिक्रिया है,
चूंकि,
चूंकि,
13. एक गैस अभिक्रिया के लिए
उत्तर:
14.
उत्तर: साम्य पर,
15.
उत्तर:
इस अभिक्रिया के लिए,
माना
दिया है,
अंतः साम्यावस्था पर,
16.
उत्तर: माना साम्य पर,
तब,
प्रारंभिक सांदरण,
साम्य पर,
17.नीचे दर्शाए गए साम्य में
उत्तर: दी गई अभिक्रिया है,
प्रारंभिक दाब
साम्य पर
घनात्मक लेने पर,
18. एथेनॉल एवं ऐसीटिक अम्ल की अभिक्रिया से एथिलं ऐसीटेट बनाया जाता है एवं साम्य को इस प्रकार दर्शाया जा सकता है
(i) इस अभिक्रिया के लिए सान्द्रता अनुपात (अभिक्रिया-भागफल)
उत्तर:
(ii) यदि
उत्तर:
प्रारंभ में मोलों की संख्या,
साम्य पर,
यदि अभिक्रिया मिश्रण का आयतन
(iii)
उत्तर:
प्रारंभिक मोल
चूंकि
19.
उत्तर: दी गई अभिक्रिया है,
20. लौह अयस्क से स्टील बनाते समय जो अभिक्रिया होती है, वह आयरन (II) ऑक्साइड का कार्बन मोनोक्साइड के द्वारा अपचयन है एवं इससे धात्विक लौह एवं
उत्तर:
प्रारंभिक दाब
चूंकि
यदि
साम्य पर,
21. अभिक्रिया
उत्तर: चूंकि,
चूंकि,
22. ब्रोमीन मोनोक्लोराइड
उत्तर:
प्रारंभिक सांदरण
साम्य पर
23.
उपर्युक्त ताप पर अभिक्रिया के लिए
उत्तर: यदि मिश्रण
तब
तथा
24. (क)
अभिक्रिया के लिए (क)
उत्तर:
(ख) साम्य स्थिरांक की गणना कीजिए-
उत्तर:
25. निम्नलिखित में से प्रत्येक साम्य में जब आयतन बढ़ाकर दाब कम किया जाता है, तब बतलाइए कि अभिक्रिया के उत्पादों के मोलों की संख्या बढ़ती है या घटती है या समान रहती है?
उत्तर: लोशाते लिए सिद्धान्त के अनुसार दाब कम करने पर उत्पादों के मोलों की संख्या।
(क)
उत्तर: बढ़ेगी।
(ख)
उत्तर: घटेगी।
(ग)
उत्तर: समान रहेगी।
26. निम्नलिखित में से दाब बढ़ाने पर कौन-कौन सी अभिक्रियाएँ प्रभावित होंगी? यह भी बताएँ कि दाब परिवर्तन करने पर अभिक्रिया अग्र या प्रतीप दिशा में गतिमान होगी?
उत्तर: वे अभिक्रियाएँ प्रभावित होंगी जिनमें (
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
उत्तर:
27. निम्नलिखित अभिक्रिया के लिए
यदि
उत्तर:
प्रारंभिक दाब
साम्य पर
दोनों पक्षों के वर्गमूल लेने पर।
28. निम्नलिखित ऊष्माशोषी अभिक्रिया के अनुसार ऑक्सीकरण द्वारा डाइहाइड्रोजन गैस | प्राकृतिक गैस से प्राप्त की जाती है-
(क) उपर्युक्त अभिक्रिया के लिए
उत्तर:
(ख)
(i) दाब बढ़ा दिया जाए।
उत्तर: ला-शातेलिए सिद्धान्त के अनुसार साम्य पश्च दिशा में विस्थापित होगा।
(ii) ताप बढ़ा दिया जाए।
उत्तर: चूँकि दी गयी अभिक्रिया ऊष्माशोषी है, अत: साम्य अग्र दिशा में विस्थापित होगा।
(iii) उत्प्रेरक प्रयुक्त किया जाए।
उत्तर: साम्यावस्था भंग नहीं होगी लेकिन साम्यावस्था शीघ्र प्राप्त होगी।
29. साम्य
(क)
उत्तर: ला-शातेलिए सिद्धान्त के अनुसार, साम्यावस्था अग्र दिशा में विस्थापित होगी।
(ख)
उत्तर: साम्यावस्था पश्च दिशा में विस्थापित होगी।
(ग)
उत्तर: साम्यावस्था पश्च दिशा में विस्थापित होगी।
(घ)
उत्तर: साम्यावस्था अग्र दिशा में विस्थापित होगी।
30.
(क) अभिक्रिया के लिए K꜀ क़ा व्यंजक लिखिए।
उत्तर:
(ख) प्रतीप अभिक्रिया के लिए समान ताप पर K꜀ का मान क्या होगा?
उत्तर:
(ग) यदि
(i) और अधिक
उत्तर: कोई प्रभाव नहीं।
(ii) दाब बढ़ाया जाए तथा
उत्तर: कोई प्रभाव नहीं।
(iii) ताप बढ़ाया जाए तो
उत्तर: चूंकि दी गई अभिक्रिया ऊष्मशोषी है, अंतः ताप बढ़ाने पर
31. हेबर विधि में प्रयुक्त हाइड्रोजन को प्राकृतिक गैस से प्राप्त मेथेन को उच्च ताप की भाप से क्रिया कर बनाया जाता है। दो पदों वाली अभिक्रिया में प्रथम पद में
यदि
उत्तर: माना साम्यावस्था पर
प्रारंभिक दाब
साम्य पर
32.बताइए कि निम्नलिखित में से किस अभिक्रिया में अभिकारकों एवं उत्पादों की सान्द्रता सुप्रेक्ष्य होगी-
उत्तर: अभिक्रिया (ग) जिसके लिए
33.
उत्तर:
34.
उत्तर:
(मोलर सांदरण = मोलों की संख्या क्योंकि फ्लास्क का आयतन
35.संयुग्मी अम्ल-क्षारक युग्म का क्या अर्थ है? निम्नलिखित स्पीशीज के लिए संयुग्मी अम्ल/क्षारक बताइए-
उत्तर: संयुग्मी अम्ल-क्षार युग्म (Conjugate acid-base pair)-अम्ल-क्षार युग्म जिसमें एक प्रोटॉन का अंतर होता है, संयुग्मी अम्ल-क्षार युग्म कहलाता है। अम्ल-
क्षारक-
इनके संयुग्मी अम्ल/क्षारक निम्नलिखित हैं-
अम्ल | ||
संयुग्मी क्षारक |
क्षारक | |||||
संयुगमी अम्ल |
36. निम्नलिखित में से कौन-से लूइस अम्ल नही
उत्तर:
37.निम्नलिखित ब्रान्स्टेड अम्लों के लिए संयुग्म कों कैमून लिखिए-
उत्तर:
(संयुग्मी क्षारक ⇌ संयुग्मी अम्ल –
38.ब्रान्स्टेड क्षारकों
उत्तर:
(संयुग्मी अम्ल ⇌ संयुग्मी क्षारक
39. स्पीशीज
उत्तर:
स्पीशीज | संयुग्मी अम्ल जब ब्रान्सटेड क्षारक की भाँति कार्य करता है | संयुग्मी क्षारक जब ब्रान्सटेड अम्ल की भाँति कार्य करता है |
40. निम्नलिखित स्पीशीज को लूइस अम्ल तथा क्षारक में वर्गीकृत कीजिए तथा बताइए कि ये किस प्रकार लूइस अम्ल-क्षारक के समान कार्य करते हैं—
(क)
उत्तर:
(ख)
उत्तर:
(ग)
उत्तर:
(घ)
उत्तर:
41. एक मृदु पेय के नमूने में हाइड्रोजन आयन की सान्द्रता
उत्तर:
42. सिरके के नमूने की
उत्तर:
या
43.
उत्तर: (i)
(ii)
(iii)
44.फीनॉल का आयनन स्थिरांक
उत्तर: फिनॉल की आयोनीकरण को हम लिख सकते है-
प्रारम्भ में सांद्रता | |||
एक्विलिब्रिम में सांद्रता |
अब,
यहाँ आयोनिकरण स्थिरांक का मन बोहोत कम होने के कारण का मान भी बहुत कम है जो की हम भाजक में उपेक्षा कर सकते है,
अब,
मनते है,
सांद्रता
अब,
45.
उत्तर: प्रथम परिस्थिति के अनुसार,$
प्रारंभिक सांदरण
वियोजन के बाद
कुल अभिक्रिया के लिए,
46. ऐसीटिक अम्ल का आयनन स्थिरांक
उत्तर:
प्रारंभिक सांदरण
साम्य सांदरण
वियोजन की मात्रा
47.
उत्तर:
या
या
48. पूर्ण वियोजन मानते हुए निम्नलिखित विलयनों के
(क)
उत्तर:
(ख)
उत्तर:
(ग)
उत्तर:
(घ)
उत्तर:
49. निम्नलिखित विलयनों के pH ज्ञात कीजिए–
(क)
उत्तर:
(ख)
उत्तर:
(ग)
उत्तर:
(घ)
उत्तर:
50. ब्रोमोऐसीटिक अम्ल की आयनन की मात्रा
उत्तर:
प्रारंभिक सांदरण
साम्य पर
51.
उत्तर: कोडीन
52.
उत्तर: (i) ऐनिलीन के लिए,
(ii)
प्रारंभिक सांदरण
साम्य पर
53. यदि
उत्तर:
(अ)
उत्तर:
प्रारंभिक सांदरण
वियोजन के बाद
(ब)
उत्तर:
54. डाइमेथिल ऐमीन का आयनन स्थिरांक
उत्तर:
प्रारंभिक सांदरण
वियोजन के पश्चात्
55. निम्नलिखित जैविक द्रवों, जिनमें
(क) मानव पेशीय द्रव, 6.83
उत्तर:
(ख) मानव उदर द्रव, 1.2
उत्तर:
(ग) मानव रुधिर, 7.38
उत्तर:
(घ) मानव लार, 6.4
उत्तर:
56. दूध, कॉफी, टमाटर रस, नींबू रस तथा अण्डे की सफेदी के pH का मान क्रमशः
उत्तर:
(क) दूध की
(ख) कॉफी की $\mathbf{{H}^ + }$
(ग) टमाटर रस की
(घ) नींबू रस की
(ड़) अण्डे की सफेदी
57. 298 K पर 0.561 g, KOH जल में घोलने पर प्राप्त 200 mL विलयन की pH तथा पोटैशियम, हाइड्रोजन तथा हाइड्रॉक्सिल आयनों की सान्द्रताएँ ज्ञात कीजिए।
उत्तर:
58. 298 K पर Sr(OH)² विलयन की विलेयता 19.23 g/L है। स्ट्रांशियम तथा हाइड्रॉक्सिल आयन की सान्द्रता तथा विलयन की pH ज्ञात कीजिए।
उत्तर: का आण्विक द्रव्यमान =
की विलेयता
के पूर्ण आयनन की स्थिती।
59. प्रोपेनोइक अम्ल का आयनन स्थिरांक
उत्तर:
60. यदि सायनिक अम्ल (HCNO) के 0.1 M विलयन की pH 2.34 हो तो अम्ल के आयनन स्थिरांक तथा आयनन की मात्रा ज्ञात कीजिए।
उत्तर: माना
साम्य सांदरण।
विलयन की
हल करने पर,
61.यदि नाइट्रस अम्ल का आयनन स्थिरांक
उत्तर: सोडियम नाइट्राइट दुर्बल अम्ल तथा प्रबल क्षारक का लवण होता है, अंतः
इस प्रकार के लवण के लिए जल अपघटनांक,
62. यदि पिरीडिनीयम हाइड्रोजन क्लोराइड के
उत्तर: दिया गया,
हम जानते हैं कि;
63. निम्नलिखित लवणों के जलीय विलयनों के उदासीन, अम्लीय तथा क्षारीय होने की प्रागुक्ति कीजिए
तथा
उत्तर: विलयन क्षारीय प्रकृति के होते हैं क्योंकि ये प्रबल क्षारक तथा दुर्बल अम्ल के लवण होते हैं।
64. क्लोरोऐसीटिक अम्ल का आयनन स्थिरांक
उत्तर: दिया हुआ:
क्लोरोएसेटिक अम्ल का आयनियोजन स्थिरांक
क्लोरोएसेटिक एसिड का आयनीकरण:
concentration of reactants
चूंकि यह पूरी तरह से आयनित है:-
pH -log1.16- (-2) log 10
इस प्रकार,
अब, 0.1M सोडियम साल्ट घोल के pH की गणना करने के लिए:
जैसा कि हम जानते हैं कि
का नमक है और एक मजबूत बेस (NaOH) है।
इसलिए, सूत्र को लागू करके:
जहां
C एकाग्रता है
जैसा कि हम जानते हैं कि Kw का मान 10⁻¹⁴ है
Kₐ = 1.35x10⁻³
इस प्रकार,
65. 310 K पर जल का आयनिक गुणनफल 2.7×10⁻¹⁴ है। इसी तापक्रम पर उदासीन जल की pH ज्ञात कीजिए।
उत्तर:
66. निम्नलिखित मिश्रणों की pH परिकलित कीजिए-
(क) का
उत्तर: के
समीकरण के अनुसार, के 1 मिलीमोल अभिक्रिया करते हैं
विलयन का कुल आयतन
मिश्रण में की मोलरता
(ख) का का
उत्तर: के
(ग) का
उत्तर: का
; बचा हुआ
प्रतिक्रिया मिश्रण की मात्रा =
मिश्रण के घोल में की मात्रा है;
Molarity =
67. सिल्वर क्रोमेट, बेरियम क्रोमेट, फेरिक हाइड्रॉक्साइड, लेड क्लोराइड तथा मयूरस आयोडाइड विलयन के
उत्तर:
सिल्वर क्रोमेट -
बेरियम क्रोमेट -
फैररिक हाइड्रोक्साइड-
का
68. तथा
उत्तर: के लिए,
मोलरताओं का अनुपात,
69. यदि
उत्तर:
मिश्रित करने के पश्चात्
आयनिक गुणनफल
70. बेन्जोइक अम्ल का आयनन स्थिरांक
उत्तर: दिया गया है-
बफर का
अर्थात
बेनजोइक अम्ल का आयतन स्थिरांक
जल से बेनजोइक अम्ल की अभिक्रिया इस प्रकार होती है:
मान लेते हैं कि सिल्वर बेनजोइक की विलेयता जल में s है।
s s s
[Ag⁺] = s
दिया गया ksp = 2.5 = 10⁻¹³
मान लिया जाए कि सिल्वर बेनजोइक की 3.19 pH वाले बफर विलयन में विलेयता s' है:
s' s' s'
अंतः
अतएव ,
71. फेरस सल्फेट तथा सोडियम सल्फाइड के सममोलर विलयनों की अधिकतम सान्द्रता बताइए जब उनके समान आयतन मिलाने पर आयरन सल्फाइड अवक्षेपित न हो।
(आयरन सल्फाइड के लिए
उत्तर: माना सांदरण
72.
उत्तर:
(
अंतः
;
73.
उत्तर: अवक्षेपण उस विलयन में होता है जिसमें विलेयता गुणनफल आयनिक से कम होता है । चूंकि
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